UPI New Rule 2025: आज के समय में हर कोई मोबाइल से ही पेमेंट करना पसंद करता है। चाहे सब्जी वाले को पैसे देने हों, दूध का बिल चुकाना हो या फिर किसी दुकान से कुछ खरीदना हो, अब लगभग हर भुगतान यूपीआई यानी यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस के जरिए किया जाता है। लेकिन अब नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया यानी एनपीसीआई ने यूपीआई के नियमों में बड़ा बदलाव कर दिया है जो 4 अक्टूबर 2025 से लागू हो चुका है। अगर आप गूगल पे, फोन पे या पेटीएम जैसे ऐप्स का इस्तेमाल करते हैं तो यह जानकारी आपके लिए बहुत जरूरी है क्योंकि अब लेनदेन करने का तरीका पहले से अलग हो गया है।
यूपीआई में क्या बड़ा बदलाव किया गया है
एनपीसीआई ने 4 अक्टूबर से यूपीआई के तहत नया नियम लागू किया है जिसके अनुसार अब यूजर्स को P2P कलेक्शन रिक्वेस्ट फीचर यानी पैसे मांगने वाले विकल्प का इस्तेमाल नहीं करने दिया जाएगा। पहले यह फीचर बहुत काम का था क्योंकि इससे कोई भी व्यक्ति किसी से पैसा मांग सकता था। लेकिन अब यह सुविधा बंद कर दी गई है। इसका मतलब है कि अब आप किसी से कलेक्शन रिक्वेस्ट नहीं भेज सकते और न ही उसे स्वीकार कर सकते हैं।
यह नियम खास तौर पर छोटे व्यापारियों और दुकानदारों को प्रभावित करेगा क्योंकि वे ग्राहकों से पेमेंट लेने के लिए इसी फीचर का उपयोग करते थे। अब उन्हें खुद ग्राहकों से पैसे लेने के लिए यूपीआई आईडी या क्यूआर कोड से पेमेंट करवाना होगा।
अब पैसे कैसे भेजे या लिए जाएंगे
अब अगर आपको किसी से पैसा लेना है तो आपको खुद सामने वाले व्यक्ति से पेमेंट करने के लिए कहना होगा। यानी अब आप केवल क्यूआर कोड स्कैन करके या फिर यूपीआई आईडी डालकर ही पैसा भेज या प्राप्त कर सकेंगे। पहले की तरह कोई भी व्यक्ति रिक्वेस्ट भेजकर पैसे नहीं मांग पाएगा।
यूजर्स को सलाह दी गई है कि वे अपने मोबाइल एप्स को हमेशा अपडेट रखें ताकि किसी भी तकनीकी परेशानी से बचा जा सके। कई बार नेटवर्क की दिक्कत के कारण पेमेंट फंस जाता है, इसलिए एप अपडेट रहना जरूरी है ताकि ट्रांजैक्शन आसानी से पूरा हो सके।
नए नियम से कौन होंगे सबसे ज्यादा प्रभावित
यह नया नियम खासकर उन छोटे दुकानदारों, ठेले वालों और व्यापारियों के लिए मुश्किलें बढ़ा सकता है जो रोजमर्रा में ग्राहकों से ऑनलाइन पेमेंट लेते हैं। क्योंकि ग्राहक अब रिक्वेस्ट देखकर तुरंत पेमेंट नहीं कर पाएंगे, उन्हें खुद मैन्युअली स्कैन करना होगा या यूपीआई आईडी डालनी होगी। इससे ट्रांजैक्शन में समय अधिक लगेगा और कई बार पेमेंट अटक भी सकता है।
क्या होगी आगे की तैयारी
एनपीसीआई का कहना है कि यह कदम सुरक्षा बढ़ाने और फर्जीवाड़े को रोकने के लिए उठाया गया है। कई बार कलेक्शन रिक्वेस्ट के जरिए यूजर्स को धोखा दिया जाता था और अनजान रिक्वेस्ट स्वीकार करने से पैसे कट जाते थे। इस बदलाव के बाद ऐसे मामलों में कमी आएगी।
यूजर्स को यह भी ध्यान रखना चाहिए कि वे किसी अनजान लिंक या एप से यूपीआई से जुड़ी जानकारी शेयर न करें और हमेशा विश्वसनीय ऐप्स जैसे गूगल पे, फोन पे और पेटीएम काही उपयोग करें।